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नेपाल में प्रदर्शनकारियों ने प्रधानमंत्री और राष्ट्रपति के घर को जलाया, भारी हिंसा, केपी शर्मा ओली भागेंगे या जलता रहेगा देश?

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काठमांडू: नेपाल में प्रदर्शनकारियों ने प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली के आवास को आग के हवाले कर दिया है। सोमवार को शुरू हुआ छात्रों का ये प्रदर्शन मंगलवार को पूरे देश में फैल गया है। दूसरी तरफ नेपाल के मंत्री पृथ्वी सुब्बा गुरुंग ने मंगलवार को कहा है कि प्रधानमंत्री के.पी. शर्मा ओली इस्तीफा नहीं देंगे। उनका ये बयान उस वक्त आया है जब नेपाल सरकार के 10 से ज्यादा मंत्रियों ने हिंसक प्रदर्शन को देखते हुए इस्तीफा दे दिया है। हालांकि खबर ये भी है कि नेपाली प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली ने आपात स्थिति में अपनी जान बचाने के लिए एक निजी एयरलाइन के विमान को स्टैंडबॉय पर तैनात रखा है। दूसरी तरफ प्रदर्शनकारी प्रधानमंत्री ओली के इस्तीफे के अलावा कोई और बात सुनने के लिए तैयार नहीं हैं, जबकि 19 छात्रों की अभी तक मौत हो चुकी है।



ओली के इस्तीफे की मांग करते हुए प्रदर्शनकारियों ने उनके अवास को जला दिया है। प्रदर्शनकारियों ने बालकोट स्थित प्रधानमंत्री ओली के आवास में आग लगा दी। प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, प्रदर्शनकारियों का एक बड़ा समूह परिसर में घुसने और घर के कुछ हिस्सों में आग लगाने से पहले, घर में मौजूद सामानों को बाहर निकाल लिया था। आग फैलने पर आवास से धुएं का घना गुबार उठता देखा गया। वहीं, देश के ऊर्जा मंत्री और राष्ट्रपति के घर को भी प्रदर्शनकारियों ने जला दिया है। प्रदर्शनकारियों ने "केपी चोर, देश छोड़" , "भ्रष्ट नेताओं के खिलाफ कार्रवाई करो" जैसे नारे लगा रहे हैं। प्रदर्शनकारियों ने राष्ट्रपति राम चंद्र पौडेल के आवास को पूरी तरह से जलाकर खाक कर दिया है।



जल रहा नेपाल, कब इस्तीफा देंगे ओली?

एनडीटीवी से बात करते हुए नेपाल सरकार के मंत्री पृथ्वी सुब्बा गुरुंग ने कहा कि "प्रधानमंत्री ओली इस्तीफा नहीं देंगे। विरोध प्रदर्शनों और हिंसा के पीछे राजनीतिक दल हैं। अराजकतावादियों ने विरोध प्रदर्शनों पर कब्जा करने की कोशिश की है, जिसके परिणामस्वरूप हिंसा हुई है। प्रधानमंत्री विभिन्न राजनीतिक दलों के सदस्यों से मिलेंगे और वे विरोध प्रदर्शनों का नेतृत्व करने वालों से भी मिलने के लिए तैयार हैं।" उन्होंने यह भी कहा कि नेपाल मंत्रिमंडल ने हिंसा और हत्याओं की जांच के लिए एक समिति के गठन करने का फैसला लिया है। हालांकि, कई कैबिनेट मंत्रियों ने प्रदर्शनकारियों की शिकायतों के प्रति सरकार की अनदेखी का हवाला देते हुए या तो इस्तीफा दे दिया है या इस्तीफा देने की घोषणा की है। नेपाल मंत्रिमंडल में प्रधानमंत्री सहित 25 मंत्री हैं।



गठबंधन सरकार में नेपाली कांग्रेस पार्टी का प्रतिनिधित्व करने वाले गृह मंत्री रमेश लेखक ने सोमवार को हुई घातक झड़पों के बाद नैतिक आधार पर इस्तीफा दे दिया है। मंगलवार को, कृषि मंत्री रामनाथ अधिकारी ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया। स्वास्थ्य मंत्री प्रदीप पौडेल ने एनडीटीवी को बताया कि वह भी इस्तीफा दे देंगे क्योंकि "ऐसी परिस्थितियों में सरकार में बने रहना संभव नहीं है"। इसी तरह, युवा एवं खेल मंत्री तेजू लाल चौधरी और जल संसाधन मंत्री प्रदीप यादव ने भी इस्तीफा दे दिया है। चौधरी ने एनडीटीवी को बताया कि सरकार युवाओं की शिकायतों से अवगत थी, लेकिन उन्होंने इसे नजरअंदाज कर दिया। विधायक असीम शाह ने भी अपने पद से इस्तीफा दे दिया। सूत्रों के मुताबिक, कांग्रेस नेता शेखर कोइराला ने अपने करीबी मंत्रियों को इस्तीफा देने का निर्देश दिया है।

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